कन्हैया कुमार को आगे कर कांग्रेस ने दी बदलाव की संकेत, क्या युवाओं का दौर शुरू हो गया है?
जे एफ डेस्क – आगामी लोकसभा चुनावों की तैयारी में जुटी कांग्रेस पार्टी बिहार में एक नई रणनीति के संकेत दे रही है। पूर्व जेएनयू छात्रसंघ अध्यक्ष और युवा नेता कन्हैया कुमार को पार्टी जिस तरह से आगे बढ़ा रही है, उससे राजनीतिक गलियारों में यह चर्चा तेज हो गई है कि क्या कांग्रेस अब एक नए और युवा नेतृत्व की ओर बढ़ रही है?
बिहार में पार्टी की सक्रियता बढ़ाने और युवाओं को जोड़ने की कवायद के तहत कन्हैया कुमार को हाल ही में कई बड़े मंचों और रैलियों में प्रमुखता से शामिल किया गया। कांग्रेस के वरिष्ठ नेताओं के साथ उनकी मौजूदगी यह साफ दिखा रही है कि पार्टी उन्हें एक बड़े चेहरे के तौर पर सामने ला रही है।
राजनीतिक विश्लेषकों का मानना है कि यह बदलाव सिर्फ एक व्यक्ति विशेष तक सीमित नहीं है, बल्कि कांग्रेस अब राष्ट्रीय स्तर पर युवा नेतृत्व को तरजीह देकर संगठन में नई ऊर्जा और दृष्टिकोण लाने की कोशिश कर रही है।
कन्हैया कुमार का तेज़-तर्रार भाषण और युवाओं से जुड़ाव पार्टी को बिहार जैसे राज्य में पुनर्जीवित करने का प्रयास हो सकता है, जहां जातीय समीकरणों और क्षेत्रीय दलों का प्रभुत्व लंबे समय से कायम है।
क्या कहता है युवा वर्ग?
कई युवा मतदाता सोशल मीडिया पर कन्हैया कुमार की साफ़गोई और स्पष्ट विचारधारा की सराहना कर रहे हैं। उनका कहना है कि अगर कांग्रेस वाकई में युवा नेतृत्व को मौका देती है, तो यह बदलाव पार्टी को एक नया मुकाम दे सकता है।
अब देखना यह होगा कि कांग्रेस इस नई लहर को सिर्फ प्रचार तक सीमित रखती है या वाकई में संगठनात्मक ढांचे और टिकट वितरण में भी युवाओं को उचित भागीदारी देती है।
